ऋषि यों ने बनाया है गंगा तटों को तपस्थली बने अध्यात्मिक चेतना के सूत्रधार संजीव


मेला ककोड़ा: अखिल विश्व गायत्री परिवार के मार्गदर्शन में प्रज्ञा मंडल और प्रखर बाल संस्कार द्वारा मेला ककोड़ा के गंगा तट पर आरती गई। वेदमंत्रोच्चारण के साथ दीपदान किया गया।
गायत्री परिवार के संजीव कुमार शर्मा ने कहा कि ऋषि-मुनियों और साधु-संतों ने गंगा के तटों को अपनी तपस्थली बनाया। आध्यात्मिक चेतना के सूत्रधार बनकर विश्व में श्रेष्ठ चिंतन और सद्भाव जगाने का कार्य किया। मां गंगा की निर्मलधारा भारत की जीवन रेखा है। अरबों खरबों लोगों का पोषण करने साथ उनका उद्धार करती आ रही है।
प्रज्ञा मंडल की वैभव शर्मा ने कहा कि गंगा जल के आचमन से प्राणी जगत को सद्गति मिलती है। मां गंगा के उपकरों को न भूलें। मां गंगा को माता मानें और बासी फूल और पूजा सामग्री डालकर उसके आंचल को गंदा न करें।
सत्यवीर सिंह यादव ने कहा कि मां भागीरथी के प्रवाह से देश, समाज और संस्कृति जीवंत और जाग्रत है। गंगा जल से श्रेष्ठ संकल्प पूरे होते हैं। इस मौके पर दीप्ति शर्मा, हेमंत, मृत्युंजय आदि मौजूद रहे।
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बदायंू: रुहेलखंड का सुप्रसिद्ध मिनी कुंभ मेला ककोड़ा में तम्बुओं का शहर बस चुका है। श्रद्धालुओं की सुरक्षा और सुरक्षा को लेकर शेष तैयारियां पूरी की जा रही हैं। मेले में शासनिक, प्रशासनिक अधिकारियों के लिए आकर्षक टैंटों को लगाए जा रहे हंै। वहीं मजदूरों के ठहरने के लिए बड़ा टैंट लगाया गया है। अन्य सामान को सुरक्षित रखने के लिए पाल सिरकी से अधिकांश घेराबंदी हो चुकी है। मेले में मुख्य गंगा घाट जेसीबी मशीन से तैयार किया जा रहा है। मेले में अभी शौचालय और मूत्रालय नहीं बनें हैं। जबकि मेले की रौनक बढ़ाने के लिए चाय, चाट, पकोड़ी की दुकानें पहुंच चुकी हैं। बीआईपी और सांसदों, विधायकों और अन्य अधिकारियों के टैंटों को लगाया जा रहा है। बिजली फिटिंग भी की जा रही है। मेला कोतवाली प्रभारी राजीव कुमार शर्मा ने बताया कि मेले की सुरक्षा के लिए 9 नवम्बर तक बदायूं के अलावा पीलीभीत और शाहजहांपुर की फोर्स तैनात रहेगी। मेले में 5 नवम्बर को वायरलेस लगा दिया जाएगा। फिहलाल पुलिस की दिन में ड्यूटी लगाई जा रही है।
इंजीनियर कामता प्रसाद वर्मा, जेई छोटे लाल यादव और रंजीत कुमार ने मेले के मुख्य मार्गों का निरीक्षण किया। अवर अभियंता लालता प्र्रसाद कश्यप ने बताया कि मेले में सभी मार्गाें पर कार्य पूर्ण हो चुका है। मेले के वाईपास, कादरबाड़ी और खैराती चैक पर कार्य चल रहा है।
मेला ककोड़ा के गंगा तट पर श्रद्धालुओं के पहुंचने का सिलसिला शुरू हो गया है। श्रद्धालु कार, मोटर साइकिलों और बैलगाड़ियों से पहुंच रहे हैं। हर हर महादेव, हर हर गंगे के जयघोष के साथ पतित पावनी गंगा में डूबकी लगा रहे हैं। श्रद्धालु ध्यान साधना, पूजा अर्चना और मां गंगे की आरती कर रहे हैं।