हमारे जीवन में आयुर्वेद का महत्व

हकीकत का आईंना के सी शर्मा का विशेष कॉलम
 के इस दौर में सकारात्मक विचार ताकि सुखी और स्वस्थ भविष्य का निर्माण हो सके।

 दोस्तों वैसे तो कोरोना ने पूरे विश्व को परेशान कर दिया...सभी इससे बचने की कोशिश कर रहे हैं...परन्तु क्या हम कुछ सकारात्मक होकर इससे कुछ सीख नहीं ले सकते जो भविष्य में आने वाली हुई हानि की भरपाई कर सके।

 दुनिया की हर बीमारी, वायरस से बचने का सबसे आसान तरीका है रोगप्रतिकारक क्षमता का मजबूत होना...यानी जबर्दस्त इम्मयून पावर।

 आयुर्वेदिक जीवन पद्धति का निर्वहन करना हमें और हमारे पूरे परिवार को सदा के लिए स्वस्थ और सुखी कर सकता है।

समय पर उठना, समय पर सोना, समय पर खाना, समय पर सभी कार्य करना और अपनी दिनचर्या में योग-प्राणायाम को अवश्य स्थान देना।

सात्विक आहार ग्रहण करना, जंक फूड का कम से कम प्रयोग करना। (न करें तो अधिक उत्तम)

जीवन मे खर्चें को भी हम कंट्रोल करना इस लॉकडाउन से सीख सकते हैं...ताकि फिजूल खर्च न करें और अतिरिक्त पैसे का प्रयोग असहाय, गरीब लोगों की सेवा में करें।

हाथ जोड़ना, सोशल डिस्टेंसिंग, बेमतलब के भृमण न करना आदि कुछ ऐसी अच्छी आदतें सिद्ध होंगी जो छुआछूत की बीमारियों को कम करेंगे और पर्यावरण को मजबूत करेंगी।

सबसे जरूरी यदि प्रतिदिन अग्निहोत्र हवन करें तो हम और हमारा परिवार सदा के लिए जीवाणु-विषाणु से सुरक्षित हो सकता है। 

 सोचिए और इस विकट परिस्थिति से महान सीख लेकर उज्ज्वल भविष्य का निर्माण कीजिए।